Ravi Kumar
गढ़वाल के राजा से मुगलों की अदावत शाहजहां के दौर से ही थी। 1657 में शाहजहां बीमार पड़ गए। इसके बाद उन्होंने दारा शिकोह को अपना उत्तराधिकारी घोषित कर दिया।
शाहजहां के उत्तराधिकारी घोषित करने के बाद उसके बाकी तीन बेटे शाह शुजा, मुराद और औरंगजेब उसके खिलाफ हो गए। औरंगजेब ने शाहजहां को कैद कर खुद को सम्राट घोषित कर दिया।
औरंगजेब ने दारा शिकोह के बेटे सुलेमान शिकोह के पूर्व सहयोगी राजा जय सिंह को राजकुमार सुलेमान को पकड़ने का काम सौंपा। सुलेमान को औरंगजेब के मंसूबों का पता चल गया था। सुलेमान शिकोह इलाहाबाद से पौड़ी गढ़वाल में श्रीनगर के लिए निकल पड़ा।
ऐसे में औरंगजेब को इसकी सूचना मिल गई। उसने राजा जय सिंह के माध्यम से गढ़वाल के राजा पृथ्वी पत शाह को राजकुमार सुलेमान शिकोह को आत्मसमर्पण करने के लिए बार-बार संदेश भेजा। पृथ्वी पत शाह ने धमकियों को नहीं माना। इस वजह से औरंगजेब राजा पृथ्वी पत शाह से बुरी तरह चिढ़ गया।
पृथ्वी पत शाह के पिता महिपति शाह भी गढ़वाल के राजा रहे।
पृथ्वी पत शाह जब छोटे थे तभी उनके पिता महाराज महिपति शाह का निधन हो गया था।
उनकी मां कर्णावती गढ़वाल की गद्दी पर बैठीं।
ऐसे में औरंगजेब को इसकी सूचना मिल गई। उसने राजा जय सिंह के माध्यम से गढ़वाल के राजा पृथ्वी पत शाह को राजकुमार सुलेमान शिकोह को आत्मसमर्पण करने के लिए बार-बार संदेश भेजा। पृथ्वी पत शाह ने धमकियों को नहीं माना। इस वजह से औरंगजेब राजा पृथ्वी पत शाह से बुरी तरह चिढ़ गया।