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 Aadhaar को लेकर बिल्कुल भी ऐसा नहीं करें, एक लाख रुपये का जुर्माना हो सकता है
 

 
Aadhaar

 नई दिल्ली में आधार से जुड़े अपराध: अब आधार कार्ड सबसे महत्वपूर्ण दस्तावेज है। आधार कार्ड चाहिए अगर आप बैंक में खाता खोलना चाहते हैं या सिम कार्ड खरीदना चाहते हैं। इसके होने से बहुत सारे काम आसानी से हो सकते हैं और आसानी से हो सकते हैं।

साथ ही आधार कार्ड से जुड़े अपराध भी तेजी से बढ़ गए हैं। लंबे समय तक चलने वाली आधार की गड़बड़ियों से बहुत सारा नुकसान होता है। क्योंकि वे भारी जुर्माने से लेकर जेल की सजा भी पा सकते हैं।


यही कारण है कि आधार कार्ड का गलत इस्तेमाल सबसे बड़ा फ्रॉड रिस्क है। आधार या आधार से जुड़ी जानकारियां गलती से हाथ में मिल सकती हैं। पहचान की चोरी करने के लिए इसका गलत इस्तेमाल हो सकता है।


आपके बैंक खाते में पैसे निकालने के लिए आधार से जुड़ी जानकारी का उपयोग किया जा सकता है। आपके नाम पर भी सिम कार्ड लिया जा सकता है और गलत कामों में इस्तेमाल किया जा सकता है।

 

आपको हो सकती है परेशानियां

अगर इस तरह का कोई अपराध होता है उसमें आधार कार्ड के धारक को काफी सारी परेशानियां उठानी होती है। उदाहरण के लिए यदि किसी ने आपके आधार का उपयोग कर फ्रॉड किया तो आपके बैंक खाते को खाली किया जा सकता है और आपकी सेविंग व  इनकम को चुना लगाया जा सकता है। इस प्रकार सिम कार्ड लेने या फिर होटल बुक करने में आपके आधार में उपयोग होता है तो आपको पुलिस प्रशासन के झमेले में फंसना पड़ सकता है।

क्या कहता है आधार का कानून

आधार कार्डधारकों को इस प्रकार के अपराधों और आधार व उससे जुड़ी जानकारयों के गलत इस्तेमाल से बचाने के लिए कानूनी उपाय किए गए हैं। आधार अधिनियम 2016 के तहत आधार से जुड़े अपराध और अपराधों के मामलों में दी जाने वाली सजा के उपाय हुए हैं।

इस मामले में हो सकती है 3 साल की जेल

आधार में गलत जानकारी देने पर 3 लाल की जेल या फिर 10 हजार रुपये का जुर्माना हो सकता है। यदि कोई भी शख्स किसी आधार नंबर का उपयोग कर उसमें नाम-पता या फिर बायोमेट्रिक जानकारियों के साथ में छेड़छाड़ करता है तो ऐसी स्थिति में 3 साल की जेल या 10 हजार रुपये का जुर्माना या दोनों की सजा हो सकती है।

अपराध में 1 लाख का जुर्माना

अगर कोई अपने आप को बताकर गलत तरीके से आपसे आधार से जुड़ी जानकारियों को जमा करते हैं, तो इस मामले में भी सजा का प्रावधान है। यदि अपराध करने वाला व्यक्तिगत हुआ तो उसे 3 साल तक की जेल या 10 हजार रुपये का जुर्माना या दोनों हो सकता है। कंपनी के मामले में जुर्माने का पैसा बढ़कर 1 लाख रुपये हो जाती है।

आधार के सेंट्रल रिपॉजिटरी में सेंध लगाने पर कम से कम 10 लाख रुपये के जुर्माने और 10 साल की जेल की सजा हो सकती है। रिपॉजिटरी में डेटा से छेड़छाड़ करने पर भी इतनी ही सजा प्राप्त हो सकती है।

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